Jitendra Sharma 26 May 2023 कविताएँ प्यार-महोब्बत बेमुरब्बत ना समझे ये हमको जमाना, आपके इन्तजार में, जितेंन्द शर्मा की कविता 9068 2 5 Hindi :: हिंदी
जी चाहता है कि तुम्हे प्यार कर लूं, मुहब्बत की बातें मैं दो चार कर लूं। बेमुरब्बत ना समझे ये हमको जमाना, अब तुमसे मुहब्बत का इकरार कर लूं।। लो चांद भी तुमसे जलने लगा है, तेरा हुस्न देख हाथ मलने लगा है। बेनूर ना करदे उसे नूर तेरा, सो जाने पे तेरे निकलने लगा है।
10 months ago