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किशमिश और शेर

Aniket 30 Mar 2023 कविताएँ हास्य-व्यंग लेखिका : वीना शर्मा By : आदर्श शिक्षा इंस्टीट्यूट 12951 0 Hindi :: हिंदी

बहुत समय पहले की बात है। एक जंगल के किनारे बहुत ही अच्छा गांव था। लेकिन उस गांव के ही पास में एक चट्टान थी, जिस पर शेर ने अपना रहने का ठिकाना बनाया हुआ था।

गांव के लोग शेर से बहुत ज्यादा डरते थे।

    एक बार शेर को बहुत तेज भूख लगी। जंगल मे तो वह जा नहीं सकता था क्योंकि जंगल चट्टान से बहुत दूर था। उसने निश्चय किया कि वह आज गांव में ही जाकर शिकार करेगा।

  अब वह चलता गया, और उसे पास में ही एक झोपड़ी दिखी। उसमे दिए कि रौशनी दूर दे ही चमक रही थी। दिए कि रौशनी को देख शेर को लगा कि यहां कोई न कोई तो जरूर होगा, आज यहीं चलता हूँ।

शेर झोपड़ी के पास आ पहुंचा। लेकिन जब उसने खिड़की से अंदर झांक कर देखा तो वहां एक बच्चा था जो बहुत जोर जोर से रो रहा था। शेर अंदर प्रवेश करने ही वाला था,

कि वहां उस बच्चे की मां आ गयी और अपने बच्चे को चुप कराने लगी।

  बच्चे की मां बोल रही थी, ” चुप हो जा बेटा नहीं तो भालू आ जाएगा।” बच्चा चुप नहीं हुआ।

इस पर शेर सोचने लगा कि, कैसा बच्चा है भालू से नहीं डर रहा। तब फिर से उसकी मां बोली, ” बेटा चुप हो जा, लोमड़ी बाहर ही खड़ी है, वह तुझे ले जाएगी।” बच्चा तो फिर भी चुप नहीं हुआ।

शेर का आश्चर्य अब बढ़ता ही जा रहा था।

   अब उसके चुप न होने पर उसकी मां बोली, ” बेटा चुप हो जा, देख तुझे लेने शेर आया है, वह खिड़की के पीछे से झांक रहा है।”बच्चा तभी भी चुप नहीं हुआ।

  शेर अब बालक और उसकी मां से बहुत भयभीत हो गया। वह सोचने लगा, इसे कैसे पता लगा कि मैं यहां हूं, और यह बालक तो मुझसे भी नहीं डरता। जरूर यह कोई मायावी बालक होगा।

Hasya Kahaniyan Moral Part – फिर उसकी मां ने उसे एक किशमिश दी और वह तुरंत चुप हो गया। तब उसकी मां बोली, ” सब तुम्हारा नाटक था, तुम्हें तो किशमिश चाहिए थी! है न?”

   अब शेर किशमिश का नाम सुनकर डर गया और सोचने लगा कि, कौन है यह किशमिश, शायद मुझसे अधिक शक्तिशाली जानवर होगा तभी तो यह बच्चा चुप हो गया।

तभी एक जोर की आवाज हुई। और शेर के पास कुछ गिरा। शेर को लगा कि किशमिश को उसके बारे में पता चल चुका है और वह उसको मारने आया है।

शेर बहुत ही डर गया और उसने झटपट अपनी चट्टान की ओर दौड़ लगा दी। वह बिना कुछ खाए ही अपनी गुफा में चला गया।

सीख | किसी भी निर्णय पर पहुंचने से पहले अपने सारे भ्रम दूर करने अति आवश्यक होते हैं।

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