संदीप कुमार सिंह 30 Aug 2023 कविताएँ समाजिक मेरी यह कविता समाज हित में है। जिसे पढ़कर पाठक गण काफी लाभान्वित होंगें। 4992 0 Hindi :: हिंदी
प्रभुता के संदेश से, लोगों में है हर्ष। आपस में सब बात कर, भूल गए हैं कर्ष। जज्बा सब ही पूर्ण हों,चाहे हों जो राह_ बच्चा बच्चा गर्व में,स्वर्णिम हो हर वर्ष।। (स्वरचित मौलिक) संदीप कुमार सिंह✍🏼 जिला:_समस्तीपुर(देवड़ा)बिहार
I am a writer and social worker.Poems are most likeble for me....