Baba ji dikoli 05 Jun 2023 कविताएँ देश-प्रेम कहानी/काव्य/साहित्य/शायरी/निबंध/आलेख/गजल 7657 0 Hindi :: हिंदी
ये बुंदेलखंड भूमि वीरो की राजधानी है। झांसी और ओरझा दुर्ग करते व्यान इसकी कहानी है। प्रकृति भी यहां की दीवानी है। पर्वत श्रृंखलाये लिए कुछ अलग ही निशानी है। वीर बुंदेलों की वीर गाथाएँ और मधुर बुंदेली वाणी है। लख्मीबाई यहाँ की रानी है,आल्हा की अमर कहानी है। ये बाग़ियों की भूमिअंग्रेजो से वगाबत की निशानी है। यहाँ की एक अलग ही कहानी है। मातृभूमि के लिए रक्त यहां सदैव से ही पानी है। जय हो माँ भाबानी की जय-जय-जय बुंदेली भूमि की। बुंदेलों का आज भी भौकाल है एशलिये यहां की रज का रंग आज भी लाल है। @babajidikoli