संदीप कुमार सिंह 08 Jul 2023 कविताएँ समाजिक मेरी यह कविता समाज हित में है। जिसे पढ़कर पाठक गण काफी लाभान्वित होंगें। 5616 0 Hindi :: हिंदी
तस्वीरें स्पष्ट और बहुत ही मधुर बोलती हैं, सिर्फ तस्वीरों की आवाज को समझना हैं, जो रुबरु नहीं कह पाते हैं वो भी सब कहते_ आप से ज्यादा तस्वीर पसन्द किए जाते हैं। तस्वीरें आन्तरिक सत्य बात को प्रकट करती हैं, मनोदशा जो तस्वीर में हो वही भाव व्यक्त करती हैं, जो कि सभी को अत्यधिक पसन्द में है आती_ एक तस्वीर में कई हज़ार शब्द छिपे होते हैं। तस्वीरें सदैव हरेक रंगों में मुस्कुराती रहतीं हैं, बड़ी सतर्कता से तस्वीरों को सम्हाली जाती हैं, जो गम के समय में भी साथ नहीं है छोड़ती_ दिल के रंगों से तस्वीरें सभी सजाई रहती हैं। (स्वरचित मौलिक) संदीप कुमार सिंह✍🏼 जिला:_समस्तीपुर(देवड़ा)बिहार
I am a writer and social worker.Poems are most likeble for me....