Poonam Mishra 30 Mar 2023 गीत समाजिक अनंत है मन में विश्वास 11864 0 Hindi :: हिंदी
काव्यागन--- काव्य यात्रा-- 37 प्रदत्त शब्द ----अनंत दिनांक17/3/2023 शीर्षक---अनंत अभिलाषाऐ है अनंत है अभिलाषाऐ! अनंत है आशाएं ! अनंत है जीवन के सपने ! अनंत हैं मन के विचार ! अनंत है !मन में उठते तूफान प्रिये! सोच रही हूं !इन तूफानों से मैं! जल्द ही निकल जाऊंगी क्या? प्रिये !अनंत है मन में आशाएं! मुझे हारने का डर तो है ? पर मन में है जीत जाने का है,। अनंत विश्वास! आकाश में अनंत है तारे , जिसे देखकर मैं सोच रही हूं ! जब अंधेरा छट जाएगा तो कितनी खूबसूरत होगी वह सुबह की पहली किरण , जब मैं अपनी जीत पर मुस्कुरा आऊंगी , अनंत संभावनाओं से , भरी सुबह -- खोल देंगे अनंत पंथ के रास्ते मेरे लिए ! मुस्कुराएंगे मेरे अरमान , जब संभावनाओं से हो जाएगा! मेरी इच्छाओं का मेल ! खुशी के पल देखकर मुस्कुराएंगी मेरी आंखें! आंसुओं! से स्वागत करेंगी मेरी आंखें, मौन !और नि:शब्द ! हो जाऊंगी मैं ,अनंत बातें दिल ही दिल में करती रहूंगी मैं ! स्वरचित लेखिका पूनम मिश्रा उत्तर प्रदेश वाराणसी