Ranjana sharma 30 Mar 2023 कहानियाँ दुःखद Google 87617 1 5 Hindi :: हिंदी
कीर्ति के मां - बाप समाज की बदनामी से डर कर उसकी शादी गांव में एक गरीब परिवार के लड़के (मुकेश) से करा देते।कीर्ति भी अपने भाग्य से समझौता कर अपने ससुराल चली जाती।असल में,कीर्ति अपने गांव में एक दिनेश नाम के लड़के से प्रेम करती थी दोनों एक ही कॉलेज में और एक ही क्लास में पढ़ते थे।यही बात कीर्ति के मां - बाप को पता चल जाती और वे दोनों कीर्ति का कॉलेज बंद करवा कर घर में नजरबंद कर देते और गांव ले जाकर उसकी शादी एक मंदिर में करा देते।कीर्ति के ससुराल वाले बड़े ही नेरो माइंड के रहते हैं यहां तक की उसका हसबैंड मुकेश भी उन्हीं लोगों के जैसा होता है हालांकि वह बहुत पढ़ा - लिखा था ,पर उसकी सोच उसी गांव में दब कर रह गई।ससुराल में कीर्ति को एक लंबा घूंघट डाले सारा दिन काम करना पड़ता था और सभी के ताने और जली कुटी बातें भी सुननी पड़ती थी।कीर्ति एक पढ़ी - लिखी और समझदार लड़की थी इसलिए उसके लिए यह सब सहना मुश्किल होती जा रही थी वह इन सबका जब विरोध करती ,पर दुर्भाग्यवश उसका पति ही उसके अगेंस्ट खड़ा रहता ।वह उसे अब रोज मारने - पीटने लगा, इन सबसे एक दिन तंग आकर वह घर छोड़ कर निकल जाती और अपना जीवन समाप्त करने के लिए गांव के ही तालाब में छलांग मार लेती ,लेकिन कहते है ना " जीना - मरना सब ईश्वर के हाथ में है वो जब तक नहीं चाहेगें आपके कुछ भी करने से कुछ नहीं हो सकता" ,कीर्ति के साथ भी ऐसा ही हुआ वह तालाब में जैसे ही छलांग मारती वहां कुछ आदमी अपने खेत की रखवाली कर रहे थें वह तुरंत आकर उसे बचा लेतें ।लेकिन अब जब कीर्ति को होश आती , तो वह समझ जाती कि मेरा यह जन्म कुछ कर दिखाने के लिए है और वह वहां से दूर शहर में जाकर एक भले मनुष्य के जरिए उसे एक प्राइमरी स्कूल में नौकरी मिल जाती और अपना जीवन यापन करती। कीर्ति अपने जीवन में बहुत संघर्ष करती उसकी एक सोच उसका पूरा जीवन बदल देती तब जाकर उसे एक सुविधाजनक ,सुखमय और स्वतंत्र जिंदगी जीने को मिलती ।इसलिए हमें अपनी लाइफ से कभी उदास और निराश होकर ईश्वर की दी हुई कीमती जिंदगी को इतने आसानी से नहीं खोना चाहिए इसे जिओ और खुलकर जिओ। धन्यवाद
1 year ago