Uday singh kushwah 30 Mar 2023 शायरी प्यार-महोब्बत Google/yahoo/bing 85198 3 5 Hindi :: हिंदी
ता-उम्र मोहब्बतें राह ताकता रहा उसकी, वे किसी गुलजार के गुल हो गये.....! आहिस्ता-आहिस्ता दाखिलें गिरफ्त जज्बात हुए, कमवख्त ख्याल उन पर निसार हो गये....! जिनके रहमतें दीदार को तरसते थे हम, वे खुद वा खुद पहलू में आ वैठे....! जिनकी रहनुमाई के लिए तरसते थे हम, वे खुदवा खुद गुफ्तगू कर वैठे.....! यू्. एस.बरी
10 months ago
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