DINESH KUMAR KEER 09 May 2023 आलेख हास्य-व्यंग 5492 0 Hindi :: हिंदी
हम बचपन में छुट्टी के बाद खाना खाते ही शुरु हो जाते थे..... फिर जब शाम को वापस खाने का समय होता तब ही वापस घरों को रूख करते थे। आजकल के बच्चों का बचपन इंटरनेट ने छीन लिया है... काश वो बिना जिम्मेदारी वाला मस्ती भरा बचपन लोट आये..... अब तो उसका एक एक पल हंसते हुए गुजारूं। जिम्मेदारियों ने ज़िन्दगी को ऐसा घसीटा है, भी नहीं चल रहा है जिन्दगी जी रहे हैं या दिन काट रहे हैं।