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आओ मन को जय विजय करें

Rambriksh Bahadurpuri 08 Apr 2023 कविताएँ समाजिक #Rambriksh Bahadurpuri #Rambriksh Bahadurpuri Kavita #Rambriksh Bahadurpuri Ambedkar Nagar #Aao man ko jay Vijay karen#Ambedkar Nagar poetry 7061 0 Hindi :: हिंदी

कविता-आओ ! मन को जय-विजय करें!


              आओ ! मन को जय-विजय करें!
              सम्मान   कीर्ति   यश  अजय धरें। 

हर  हार- हार  को जीत समझ,
चल चार कदम ना कहीं उलझ, 

              खुद  जीत  खुदी  दिग्विजय करें,
              आओ ! मन को जय-विजय करें!

हो  एक  एक  दो  चार  बनें,
बस लक्ष्य साध ना बात सुनें,

             बढ़   चलें  लक्ष्य  अभ्युदय  करें,
             आओ ! मन को जय-विजय करें!


बन   दीन  बन्धु  जी ले  जीवन,
स्वच्छंद सरल निश्छल तन-मन, 

             अपने   कर्मों   को  अक्षय   करें,
             आओ ! मन को जय-विजय करें!


है जीवन समर न शेष और,
मानवता धर  सिर छत्र मौर,

             कर  कर्म  नेक  खुद अभय करें
             आओ ! मन को जय-विजय करें!


बिन   मरे   नहीं   सौ   बार  मरें,
चिंता   ना    एक,   हजार   करें,


खुद  को  पहले  जय अजय करें,
आओ ! मन को जय-विजय करें!


रचनाकार -रामबृक्ष बहादुरपुरी अम्बेडकरनगर यू पी

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