Join Us:
20 मई स्पेशल -इंटरनेट पर कविता कहानी और लेख लिखकर पैसे कमाएं - आपके लिए सबसे बढ़िया मौका साहित्य लाइव की वेबसाइट हुई और अधिक बेहतरीन और एडवांस साहित्य लाइव पर किसी भी तकनीकी सहयोग या अन्य समस्याओं के लिए सम्पर्क करें

जीवन की एक सपना

MANISHI PAINKRA 30 Mar 2023 कविताएँ दुःखद जीवन की एक सपना 39382 0 Hindi :: हिंदी

माता - पिता , सखा, बन्धु हमारे,
मैंने देखी थी एक सपना।
कोई न हो सका अपना।
हे! गुरुवर आपके चरणों में,
मन लगा रहे सदा अपना ।
जड़ चेतन आधार हमारे,
जल रहा अहंकार में विश्व सारे।
आकाश में अनगिनत तारे,
हे! गुरुवर हम चलें किसके सहारे।
सत्य , अहिंसा ढाल हमारे ,
शाम के बाद निकलते  अनगिनत तारे।
सूर्य निकलते ही छुप जाते हैं तारे,
गुरुवर जी हम खड़े आपके द्वारे।

Comments & Reviews

Post a comment

Login to post a comment!

Related Articles

शक्ति जब मिले इच्छाओं की, जो चाहें सो हांसिल कर कर लें। आवश्यकताएं अनन्त को भी, एक हद तक प्राप्त कर लें। शक्ति जब मिले इच्छाओं की, आसमा read more >>
Join Us: