Jyoti yadav 27 May 2023 गीत दुःखद ख्वाइश थी मेरी आसमान में उड़ना 6746 0 Hindi :: हिंदी
ख्वाहिश थी मेरी आसमान में उड़ना चांद को पकड़ना बादलों पर चलना सितारों संग खेलना बनके परी पूरी गर्दिश में घूम लो मस्तक सूरज का चूम लूं छु लूं मै हर ऊंचाई मीट जाए मेरी सारी रुसवाई फूलों की बगिया हो कोई मजबूत सी डालिया हो जिस पर मैं झूले लगाऊं फिर उस पर झूम के गाए आसमां में इंद्रधनुष हो सतरंगी मन हो उमंगी बर्फ को उड़ा लु हवा में देख लू समुंदर की गहराई मिलने ही वाला था की आंखें खुल आई आंखें खुली तो हकीकत कुछ और ही पाई यह स्वप्न था जो गुजर गया था यह रात का नशा था जो सुबह होते ही उतर गया था