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सामर्थ्य और सामाजिक संघर्ष

Rajendra Prasad Gupta 11 Jun 2023 आलेख समाजिक #समाज# कल्याण# परोपकार 6315 0 Hindi :: हिंदी

यह था एक गाँव। इस गाँव में एक युवक रहता था, जिसका नाम राजेश था। राजेश अपने गाँव के लोगों के बीच मशहूर था क्योंकि उनका स्वभाव सदैव सामाजिक हित की ओर मुड़ा रहता था। उन्हें लोगों की मदद करने में बड़ा आनंद आता था और वे हमेशा अपनी शक्तियों का उपयोग सामाजिक उद्देश्यों की प्राथमिकता में करते थे।

एक दिन, राजेश के गाँव में एक आपदा आ गई। बड़ी बारिश के कारण बाढ़ आ गई और गाँव के लोग बहुत परेशान थे। उनके घर तथा मकान तोड़े गए थे और खाने-पीने की वस्तुएं बर्बाद हो गई थीं। लोग निराश हो रहे थे और उन्हें आगे कैसे बढ़ना है, इसका कोई रास्ता नजर नहीं आ रहा था।

इस हालात में राजेश ने गाँव के लोगों की मदद करने का निर्णय लिया। वह सभी लोगों को एकत्र करके एक साथ मिलकर काम करने लगे। उन्होंने संगठन की योजना बनाई और लोगों को गाँव के उच्चतम इलाके में सुरक्षित स्थानों पर शिविर स्थापित करने का निर्णय लिया।

इसके लिए राजेश ने गाँव के नदी के पास मिट्टी के टंकियों की बढ़ी संख्या लाने के लिए लोगों को प्रेरित किया। वे लोग उनके प्रेरणादायक वचनों पर विश्वास करके काम करने लगे। रात-दिन तक मेहनत करके उन्होंने बड़ी संख्या में टंकियाँ बनवाई और उन्हें नदी के किनारे लगवा दिया।

इसके बाद, राजेश ने अपने गाँव के नगर पंचायत सदस्यों से मदद मांगी और बाढ़ प्रभावित क्षेत्र में राहत कार्यों की शुरुआत की। वह बाढ़ प्रभावित लोगों को आवास, खाद्यान्न, पानी, वैद्यकीय सेवाएँ और आवश्यक सामग्री प्रदान करने के लिए उनकी मदद करने लगे।

राजेश की सामर्थ्य, संघटनात्मक क्षमता और उदारता ने उन लोगों की जिंदगी को बदल दिया। वह अपनी समय और मेहनत के बावजूद, सामाजिक हित के लिए निस्वार्थपूर्ण योगदान दे रहे थे।

धीरे-धीरे, गाँव के लोगों का विश्वास और अवगुण्ठन बढ़ने लगा। उन्होंने राजेश को गाँव के एकमात्र संघठन सदस्य के रूप में चुना और उन्हें सामाजिक उद्देश्यों की सेवा करने का मौका दिया।

राजेश की इस कहानी से सामाजिक हित की महत्वपूर्ण सीख मिलती है। यह बताती है कि सामाजिक सेवा के द्वारा हम अपने समाज को मजबूत बना सकते हैं। यह भी दिखाती है कि एक व्यक्ति की सामर्थ्य और संगठनात्मक क्षमता से कितनी महत्वपूर्ण चीजें हो सकती हैं। राजेश की इस सामर्थ्य और सामाजिक संघर्ष ने लोगों के दिलों में प्रेम, सहयोग और समरसता का आदान कर दिया।

इस कहानी से हमें यह संदेश मिलता है कि हमें अपने आस-पास के लोगों के जीवन में बदलाव लाने के लिए अपनी सामर्थ्य का उपयोग करना चाहिए। हमें सामाजिक उद्देश्यों की प्राथमिकता देनी चाहिए और अपने जीवन में सामाजिक सेवा के लिए समय निकालना चाहिए। इस प्रकार हम सभी मिलकर एक समरस, खुशहाल और समृद्ध समाज का निर्माण कर सकते हैं।

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