akhilesh Shrivastava 23 Jul 2023 कविताएँ समाजिक आज पेरेंट्स दिवस पर माता पिता के त्याग बलिदान प्यार को भूलकर जो संतान उनकी उपेक्षा करती है उनको जाग्रत करने हेतु यह कविता कि माता पिता का मान सम्मान करें ,उनकी सेवा करें 8154 0 Hindi :: हिंदी
*माता -पिता* जन्म दिया माता ने तुमको उसका तुम सम्मान करो पिता ने तुमको प्यार दिया है उसका तुम अभिमान करो ।। माता ने पाला है तुमको पिता ने शिक्षा -ज्ञान दिया माता ने संस्कार सिखाये पिता ने चलना सिखलाया।। रात रात भर जागी माता नींद का तुम्हें उपहार दिया गोद उठा पापा ने तुमको प्यार भरा संसार दिया।। माता पिता ने पढ़ा लिखाकर तुमको लायक़ बना दिया गृह लक्ष्मी को घर में लाकर परिवार तुम्हारा बसा दिया।। परिवार तुम्हारा बस जाने पर उनका तुमने नहीं ध्यान रखा आंसू भरी जिंदगी देकर उनका क्यों अपमान किया।। देख भाल नाती पोतों की करने का उन्हें काम दिया घर की रखवाली करने का जिम्मा उनको सौंप दिया।। बूढ़े और असक्त मां बाप को सामान सा इस्तेमाल किया प्रेम और सम्मान भूलकर घर का कोना थमा दिया ।। माता पिता की सेहत का कभी न तुमने ध्यान दिया बात बात में उन्हें डांटकर आंसुओं भरा संसार दिया।। याद रखें जो हमने बोया वही यहां हम काटेंगे। जैसा बच्चे देख रहे हैं वही हमें लौटाएंगे।। माता पिता के आशीष से ही तुमने यह सब पाया है फिर तुमने क्यों स्वार्थी बन उन्हें वृद्धाश्रम पहुंचाया है।। जन्म दिया माता पिता ने उनका तुम सम्मान करो...... रचयिता ---अखिलेश श्रीवास्तव एडवोकेट
I am Advocate at jabalpur Madhaya Pradesh. I am interested in sahity and culture and also writing k...