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चाहता है- जिंदगी के इस मोड़ पर

Poonam Mishra 10 Jul 2023 गीत समाजिक जी चाहता है 5497 0 Hindi :: हिंदी

मेरा दिल हर सितम सह लेता है जमाने का
 न जाने क्यों ?
एक तुम्हारे सितम से दूर जाने
 को  जी चाहता है !
यह दिल है कि जमाने के दिए 
कई गम दुनिया को बता देता है 
न जाने क्यों ?
एक तुम्हारे गम  को जमाने से
 छुपा लेने का 
जी चाहता है 
तुम्हें पाके न जाने क्यों?
 हम दुनिया को भूल बैठे थे 
आज इस कदर तुम बेवफा हो
 गए कि 
तुम्हें भुलाने को जी चाहता है !
तुम ही से मेरी दुनिया थी !
तुम ही से मेरी शान थी .
तुम ही से मेरी सुबह थी .
अब न जाने क्यों! उन पलों को भुलाने को जी चाहता है!
 जिंदगी के इस मोड़ पर तुम इस तरह से मुझे छोड़ कर चले गए
 कि तन्हाई में भी तुम न याद आओ
 दिल को यह बताने का को जी चाहता है

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