Mk Rana 30 Mar 2023 कविताएँ बाल-साहित्य 14608 0 Hindi :: हिंदी
शत-शत नमन शत प्रणाम करूं गुरु अपने चरणों की धूल से मन शुद्ध कर दो, दिव्य ज्ञान की ज्योत जलाकर मन को आलोकित कर दो, मुझको विद्या का धन देकर जीवन को सुख से भर दो, ना शब्दों की ज्ञान न अर्थो की गहराई है गुरु रूपी दीप में तेल देकर मन का अंधकार दूर कर दो, दान दया विवेक आशीर्वाद का मेरे शिक्षक, मेरी मां और मेरे गुरुवर दो, सदविचार की शक्ति भरी हो वाणी को ऐसा शुद्ध स्वर दो, बिन गुरु यह जीवन असफल जैसे सृष्टि अधूरी है द्वार खड़ा हूं ज्ञान उदय वाला वर दो,