Shiv Kishore 11 Jun 2023 शायरी दुःखद # कुछ साथ चले ऱहबर तो कुछ छूट गए # बांध टूट गए #मंजिल 4911 0 Hindi :: हिंदी
कुछ साथ चले ऱहबर तो कुछ छूट गए , अरमानों के सारे बांध टूट गए , जिन पर विश्वास किया कि मंजिल तक साथ चलेंगे____ वही साथी मुझको रास्ते में लूट गए । ___शिव किशोर शाहजहांपुर (यूपी)