RAJNI CHOUDHARY 30 Mar 2023 कविताएँ दुःखद 45614 0 Hindi :: हिंदी
🌺नारी🌺 हर गम को यूं तेरा सहती रहना भी ठीक नहीं हर घर की मर्यादा है तू फिर तेरा यूं मरते रहना भी ठीक नहीं हर परिवार की शान है तू तेरा यूं पीछे हटना भी ठीक नहीं हर खुशी का इरादा है तू तेरा यूं रोते रहना भी ठीक नहीं हर बात तेरे दिल में फिर तेरा यूं छुपते रहना भी ठीक नहीं हर घड़ी की विषम पहेली तू फिर तेरा यूं सुलझना भी ठीक नहीं है 🏵️Rajni Chaudhary🌼