Join Us:
20 मई स्पेशल -इंटरनेट पर कविता कहानी और लेख लिखकर पैसे कमाएं - आपके लिए सबसे बढ़िया मौका साहित्य लाइव की वेबसाइट हुई और अधिक बेहतरीन और एडवांस साहित्य लाइव पर किसी भी तकनीकी सहयोग या अन्य समस्याओं के लिए सम्पर्क करें

मम गुरु-वदान्य प्रबल दृष्टांत सकल

Preksha Tripathi 03 Jul 2023 कविताएँ धार्मिक 11989 1 5 Other :: Other

वदान्य प्रबल दृष्टांत सकल ! 
एकांत शून्य सा चारु विदल!! 
मन से निश्च्छल् ध्वनि में तरुदल! 
वक्तव्य नाद सा करे विकल!! 
है तीक्ष्ण तेज जैसे दिनेश! 
अति प्रवर सरल सा तारकेश!! 
अति चपल नाद डमरू महेश! 
अति श्लाघ्य रुप मम इष्ट वेश!! 
कैरव् दल मम कल्पतरु! 
पद रज कर दे हरिल मरु!! 
शरण देहि मोहि मन मुकुरु! 
सतत् नमन तोहि मम गुरु!! 
प्रेक्षा त्रिपाठी

Comments & Reviews

Deepika Tiwari
Deepika Tiwari 💫💯

10 months ago

LikeReply

Post a comment

Login to post a comment!

Related Articles

शक्ति जब मिले इच्छाओं की, जो चाहें सो हांसिल कर कर लें। आवश्यकताएं अनन्त को भी, एक हद तक प्राप्त कर लें। शक्ति जब मिले इच्छाओं की, आसमा read more >>
Join Us: