Meenakshi Tyagi 06 Jul 2023 कविताएँ समाजिक सभी 80 और 90 के दशक में बचपन जीने वाले व्यक्ति। 6002 0 Hindi :: हिंदी
वह बचपन कितना प्यारा था लगता सुंदर जग सारा था हर एक त्योहार पर हमने सीखा एक नया संदेश प्यारा था कभी होली के गीत गाए तो कभी सावन का झूला झूले कभी दिवाली के दीए जलाए तो कभी देखे फूलों के मेले करी मिट्टी के बर्तन की तराजू और कभी सांप सीढ़ी के झमेले थे कभी कागज की कश्ती बनाकर बारिश के पानी में खेले थे याद आता है बहुत जो बचपन हमने गुजारा था 😊😊 पर अब कर भी क्या सकते हैं बस यादों का ही सहारा है।।