Mukesh Namdev 14 May 2023 आलेख समाजिक 14685 0 Hindi :: हिंदी
" लज्जा " आज समय मे काफी परिवर्तन होने लगा है, पहले औरत की लज्जा को उसका गहना समझा जाता था, पर आज औरत अपने जिस्म की नुमाइश करके पुरुषों से कही ज्यादा वासना की भूखी है, अब तो वो अपने जिस्म को ऐसे प्रस्तुत करती है, जैसे की कोई प्रदर्शनी हो जिसका देखने का रूपया भी नही लगता, और अब तो कही ज्यादा जिस्म की नुमाइश करने वालो के बीच मे प्रतिस्पर्धा की जंग सी छिड़ गयी हो, और अब तो वो मशहूर और अखबार में बनी रहने के लिए जिस्म की नुमाइश करती हुई प्रतीत होती है, मानो अब तो ऐसा प्रतीत होने लगा है, जैसे की लज्जा एक विलुप्त प्रजाति की भाँति अपनी अंतिम घड़ी के इंतजार मे बैठी हो, यही तो औरत का सबसे बड़ा परिवर्तन है #Mukesh Namdev