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( मर्ज़ )

Vipin Bansal 24 Nov 2024 गीत दुःखद #marz 7223 0 Hindi :: हिंदी

ये ज़िंद‌गी बस दर्द है ! 
ये सांसे ही मर्ज़ हैं !! 
हमको देकर ज़िंदगी ! 
हमसे वसूला कर्ज़ है !! 
ये ज़िंद‌गी बस दर्द है !
ये सांसे ही मर्ज़ है !! 

चढ़ाके सूली फिर वसूली ! 
अजब तेरी ये तर्ज़ है !! 
गर्द ही गर्द बची यहाँ पे ! 
क्या अब भी बक़ाया कर्ज़ है !! 
ये ज़िंद‌गी बस दर्द है ! 
ये सांसे ही मर्ज़ हैं !! 

अपने लिए हम न जिए ! 
दुनिया बड़ी खुद‌गर्ज है !! 
हमने निभाए फ़र्ज़ सभी ! 
फिर भी बकाया दर्ज़ है !! 
ये ज़िंद‌गी बस दर्द है ! 
ये सांसे ही मर्ज़ हैं !! 

मौत है बस दवा मेरी ! 
तुझको क्या हर्ज है !! 
जख्मों की ग़रज़ है !
सुनले अब अर्ज़ है !!
ये ज़िंद‌गी बस दर्द है !
ये सांसे ही मर्ज़ हैं !! 

  विपिन बंसल

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