ब्राह्मण सुधांशु "SUDH" 30 Mar 2023 कविताएँ दुःखद प्यार, धोखा, जीवन 70567 0 Hindi :: हिंदी
चंद ख्वाब देखे थे तुम्हारे साथ! चंद लम्हे बिताए थे तुम्हारे साथ!! मुझे साथ चलना था तुम्हारे साथ! मुझे साथ जीना था तो तुम्हारे साथ!! लफ्ज़ खामोश है मेरे! मेरा दिल रो रहा है!! पूछूँ क्या भगवान से मै! मेरे साथ ऎसा क्यूँ हो रहा है!! तकलीफ है बहुत मुझे! इसका इलाज़ नहीं है!! साथ नहीं हो तुम अब मेरे! तुम भी बेवफ़ा नहीं हो !! आदर्श मेरे साथ तुम्हारा रिश्ता था! सपना था शायद या मेरा कोई भ्रम था!! दुनिया से अलग मै तुम्हें मान बैठा! की थी गलती मै उसकी सजा पा बैठा!! चलो दुआ है भगवान से! तुम्हें तुम्हारा कोई मिले!! चाहे तुम्हारी तरह वो तुम्हें! खुशियों का सफर तुम्हें मिले!! अखिरी बात मेरी मान लेना! अब मत वापस आना कभी!! गुजरा वक़्त गुजरी यादे और मै! लायक नहीं तुम्हारे इन्हे भूला देना!! #brahaminsud